नियमों को ताक पर रखकर पंचायत क्वॉरेंटाइन के बदले सीधे घरों में जा रहे हैं लोग । एक दिन घर में बिताने के बाद अगले दिन जनप्रतिनिधियों के कहने पर की पंचायत घरों में क्वॉरेंटाइन के लिए जा रहे लोग।
कोरो ना वायरस के प्रति जागरूकता के चलते खुद अड़ोस पड़ोस और गांव के लोग भी बाहर से आने वाले लोगों को पंचायत इंस्टिट्यूशन क्वॉरेंटाइन की सलाह दे रहे हैं किंतु बिना किसी साजो सामान और सुविधाओं के ग्राम प्रधानों के भरोसे पर छोड़ी गई व्यवस्थाओं के चलते बाहर से आने वाले लोग सीधे अपने घर परिवार के साथ आराम से हुई मिलने के बाद अगले दिन पंचायत क्वॉरेंटाइन लिए पहुंच रहे हैं ताजा मामला उत्तरकाशी जिले के श्रीकोट गांव का है जहां बीती रात को 4 में से 3 लोग सीधे अपने घरों में चले गए ग्राम प्रधान अरविंद राणा ने बताया की जानकारी देने के बावजूद भी लोग मानने को तैयार नहीं हो रहे हैं हालांकि सुबह के समय उन्हें पंचायत घर में शिफ्ट कर लिया गया है।
कोरोना वायरस के खिलाफ चल रही जंग में अव्यवस्थाओं के चलते स्थिति और बिगड़ने की संभावना दिन प्रतिदिन बढ़ रही है अब तक ग्रीन जोन में स्थापित उत्तरकाशी जिले में भी इन्हें अव्यवस्थाओं के चलते ग्रीन के बाद ऑरेंज और ऑरेंज के बाद रेड का तमगा मिल सकता है। उत्तरकाशी के चिन्यालीसौड़ तहसील अंतर्गत श्रीकोट गांव में विगत रात को विमला देवी अर्चना और शिवम तीन लोग ऋषिकेश से और रोहित किसी अन्य शहर से गांव में पहुंचे । गांव पहुंचने के बाद रोहित तो प्राथमिक विद्यालय श्रीकोट के पंचायत क्वॉरेंटाइन में पहुंच गए किंतु अन्य 3 लोग रात को सीधे अपने घर चले गए ।ग्राम प्रधान श्री कोर्ट अरविंद राणा ने बताया कि सुबह उन्हें पंचायत क्वॉरेंटाइन के लिए लाया गया है ऐसे में जब देश विदेश के अलग जॉन से आए लोग अपने घर गांव पहुंच रहे हैं ऐसे में बद इंतजाम से यदि स्थिति बिगड़ी तो दुर्गम पहाड़ी क्षेत्रों में इसे थामना नामुमकिन हो सकता है।