उत्तरकाशी में कमिश्नर दिलीप जावलकर की बैठक में समाज कल्याण की तीन माह की पेंसन न मिलने पर कोषागार से जुड़े अधिकारियों का वेतन रोकने के निर्दश दिए, वही जिले में 40% लोगो के आयुष्मान कार्ड बनने पर संतुष्टि जताई। जिले के प्रभारी सचिव जो पर्यटन सचिव भी है ने आगामी यात्रा से पूर्व पर्यटक स्थलों।पर स्थायी शौचालय निर्माण के लिए स्थान तलाश करने के भी निर्देश दिए।
गिरीश गैरोला
मंडलायुक्त,जिलाप्रभारी/पर्यटन सचिव श्री दिलीप जावलकर ने जिला योजना, राज्य सेक्टर, केन्द्रपोशित व वाह्य सहायत योजनाओं की गहन समीक्षा की।
जिला सभागार में बैठक लेते हुए जिला प्रभारी सचिव श्री जावलकर ने समाज कल्याण विभाग की योजनाओं की समीक्षा करते हुए कहा कि समाज कल्याण विभाग ऐसा विभाग है जो सरकार व अधिकारियों की छवि बनाता व बिगाड़ता हैं। समाज कल्याण विभाग से सीधे गरीब तबके व आम जनमानस जुड़े होते हैं। इसलिए उनके हित में समय से कार्य करना सुनिष्चित करें। सचिव श्री जावलकर ने अप्रैल,मई व जून तीन माह की दिव्यांग पेंषन जारी नहींं करने पर जिला समाज कल्याण अधिकारी को तलब करते हुए कारणों को पूछा। जिस पर जिला समाज कल्याण अधिकारी द्वारा बताया गया कि जनपद में कुल 4413 दिव्यांग पेंषनकर्ता हैं जिसमें 1044 दिव्यांग पेंषनकर्ता ऐसे हैं जिनके खाते मीनी बैंक अथवा ग्रामीण पोस्ट आफिस में हैं उनके खाते में सीधी धनराषि नहीं जाने के फलस्वरूप कोशागार से ड्राफ्ट बनाने हेतु बिल प्रेशित किए गए थे। कोशागार विभाग ने आईएफएमएस साफ्टवेयर में अपलोड नहीं होने का हवाला देते हुए बिल को वापस विभाग को लौटा दिए। जिस पर सचिव श्री जावलकर ने गहरी नाराजगी व्यक्त करते हुए कोशागार के सभी जिम्मेदार अधिकारियों के वेतन रोकने के निर्देष जिलाधिकारी को दिए। उन्होंने कहा कि जब तक दिव्यांगों की पेंषन जारी नहीं की जाती हैं तब तक सभी अधिकारियों के वेतन रोका जाय।
उसके बाद सचिव श्री जावलकर ने स्वास्थ्य विभाग के आयुश्मान योजना के तहत लाभान्वित लोगों की जानकारी ली। जिस पर मुख्य चिकित्साधिकारी ने बताया कि जनपद की करीब 3 लाख 30 हजार की जनसंख्या के सापेक्ष 40 प्रतिषत लोगों के आयुश्मान कार्ड बन चुके हैं तथा षेश के गतिमान हैं। उन्होंने बताया कि जनपद में अब तक 722 लोगों ने आयुश्मान योजना का लाभ लिया हैं। तथा जनपद के 1277 लोगों ने आयुश्मान कार्ड योजना के अन्तर्गत उत्तराखण्ड के किसी भी अस्पताल में लाभ लिया हैं। सचिव ने आयुश्मान योजना पर जोर देते हुए कहा कि अधिक से अधिक पात्र लोगों को योजना के अर्न्तगत लाभान्वित किया जाए व जिन लोगों के कार्ड अभी तक नहीं पायेंं हैं उनके कार्ड तेजी के साथ बनाएं जाए। सचिव ने जल षक्ति अभियान के अन्तर्गत जनपद में किए जा रहें कार्यो की प्रगति की भी समीक्षा की। उन्होंने कहा कि जल संचय व जल संरक्षण व संर्वद्धन के लिए आवष्यक कदम उठायें जाए। जिस पर मुख्य विकास आधिकारी ने बताया कि जनपद में जल संरक्षण व संर्वद्धन के लिए तीहन बड़ी योजनाओं में कार्य किया गया है जिसमें नचिकेता ताल,मसून व सिलक्यारा षामिल हैं। ग्रामीण स्तर पर भी सोक पिट व कच्चे तालाब बनाएं गए हैं।
सचिव श्री जावलकर ने कहा कि स्वच्छता व षौचालय महत्वपूर्ण बात हो गई हैं इसलिए बड़े षौचालयों की ओर अग्रसर होना बेहत जरूरी हो गया हैं। उन्होंने कहा कि षासन ने आगामी चारधाम यात्रा षुरू होने से पूर्व यात्रा मार्गो व पर्यटन स्थल पर स्थाई व्यवस्था करने के लिए अहम कदम उठायें हैं। उन्होंने कहा यात्रा मागों व पर्यटन स्थलों में वैकल्पिक छोटे-छोटे अस्थाई षौचालय के स्थान पर 20 सीट वाले बड़े आधुनिक षौचालय का निर्माण कराया जाएगा। इसके लिए उन्होंने षीघ्र स्थान चिन्ह्ति करने के निर्देष दिए। बैठक में उन्होंने लोनिवि,षिक्षा,सिचाई,मनरेगा,ग्राम्य विकास,जल निगम, जल संस्थान,विद्युत,उरेड़ा, मत्सय, पशुपालन, कृशि, उद्यान आदि विभागों की गहन समीक्षा की।
बैठक में जिलाधिकारी डा.आषीश चौहान,पुलिस अधीक्षक पंकज भट्ट,मुख्य विकास अधिकारी प्रषान्त आर्य,अपर जिलाधिकारी तिर्थपाल सिंह,सीएओ डा.डीपी जोषी, परियोजना अधिकारी आरएस रावत, जिला अर्थ एवं संख्याधिकारी वीरेन्द्र पुरी, मुख्य षिक्षाधिकारी आरसी आर्य,सहायक निदेषक मत्स्य प्रमोद षुक्ल, अधिषासी अभियंता बीसी डोगरा सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।