हरिद्वार
काँवड़ यात्रा पर सरकारी फरमान जारी होने के बाद उत्तराखंड पुलिस फार्म मे आ गयी है | कुम्भ नागरी हरिद्वार मे काँवड़ से जुड़े समान के बेचने पर प्रतिबंध के साथ ही कावड़ यात्रा को हतोत्साहित करने की योजना है |
इसके बाद भी काँवड़ नगर मे प्रवेश करते हुए पाये गए तो उन्हे क्वारंटीन कर दिया जाएगा | दरअसल हरिद्वार कुम्भ मे फजीहत झेलने के बाद सरकार अब काँवड़ यात्रा के नाम पर कोविड तीसरी लहर का तमगा अपने सर नहीं लेना चाहती है | इसके लिए खासकर हरिद्वार जिले मे तैयारी की गयी है | एसएसपी हरिद्वार ने बताया कि ट्रेन से काँवड़ यात्री मिलने पर उन्हे के स्टेशन पहले ही उतार कर वापस भेज दिया जाएगा | इसके बाद भी धार्मिक आस्था को लेकर डीजीपी अशोक कुमार ने कहा है कि पड़ोसी राज्यो द्वारा टैंकर से गंगा जल मांगे जाने के प्रस्ताव पर वार्ता हो सकती है |
कांवड़ यात्रा पर रोक के लिए उत्तराखंड पुलिस ने एक्शन प्लान तैयार कर दिया है। अगर कांवड़िए हरिद्वार में प्रवेश करने में सफल हुए तो उन्हें पकड़ कर क्वारंटीन किया जाएगा। पुलिस ने हरिद्वार सहित आसपास के बाजारों में कांवड़ संबंधित सामान बेचने पर भी रोक लगा दी है। उत्तराखंड सरकार की ओर से कांवड़ यात्रा पर रोक के बाद उत्तराखंड पुलिस अपनी तैयारियों में जुट गई है। साथ ही डीजीपी अशोक कुमार ने गुरुवार को सभी जिला प्रभारियों के साथ विचार विमर्श किया। उन्होंने कहा कि हरिद्वार सहित आसपास के बाजारों में कांवड़ संबंधित सामान बेचने पर भी रोक लगा दी है। सरकार की तरफ से कांवड़ यात्रा पर रोक के बाद पुलिस तैयारियों को परखने के लिए डीजीपी अशोक कुमार ने गुरुवार को सभी जिला प्रभारियों के साथ विचार विमर्श किया। डीजीपी ने कहा कि अगर कोई कांवड़िया हरिद्वार में प्रवेश करता है तो उसे क्वारंटीन किया जाएगा।
उन्होंने एसएसपी हरिद्वार को इसके लिए जिलाधिकारी हरिद्वार के सहयोग से जगह तय करने को कहा। इस दौरान विशेष रूप से हरिद्वार, देहरादून, टिहरी और पौड़ी जिले में कांवड़ इंफोर्समेंट टीम का गठन किया जाएगा, जो पेट्रोलिंग करते हुए कानून व्यवस्था पर नजर रखेगी। डीजीपी ने कहा कि यदि कांवड़िए ट्रेन से आते हैं तो उन्हें हरिद्वार से पहले के स्टेशन पर उतारकर वापस भेजा जाएगा। डीजीपी ने आईजी कानून व्यवस्था को हरिद्वार के बॉर्डर पर स्थित थानों पर व्यवस्था बनाने के लिए अन्य राज्यों के अधिकारियों के साथ बैठक करने के निर्देश दिए। यदि दूसरे राज्यों की पुलिस टैंकर के जरिए गंगाजल ले जाने का प्रस्ताव देती है तो इस पर विचार कर लिया जाए।