विधायक निधि खर्च करने में कंजूसी – चुनाव से पूर्व होगी बरसात?

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देहरादून। उत्तराखंड के अधिकतर विधायक अपनी निधि खर्च करने में पीछे चल रहे हैं। 71 विधायकों (एक नामित विधायक) में से 17 ऐसे हैं, जो अब तक अपनी आधी विधायक निधि भी खर्च नहीं कर पाए हैं। खर्च के मामले में धारचूला विधायक हरीश धामी सबसे पीछे और हरिद्वार ग्रामीण के विधायक यतीश्वरानंद सबसे आगे हैं।  मुख्यमंत्री और डोईवाला विधायक त्रिवेंद्र सिंह रावत भी 70 फीसद धनराशि खर्च कर चुके हैं, जबकि नेता प्रतिपक्ष और हल्द्वानी विधायक इंदिरा हृदयेश 66 फीसद निधि खर्च कर चुकी हैं।

गिरीश गैरोला

विधायक निधि के खर्च की तस्वीर आरटीआइ कार्यकर्ता अधिवक्ता नदीम उद्दीन की ओर से मांगी गई जानकारी में सामने आई। वर्ष 2017-18 और 2019-20 (दिसंबर तक) में उत्तराखंड के 71 विधायकों को 798.75 करोड़ रुपये की निधि प्राप्त हुई। इसमें से अब तक 481.16 करोड़ रुपये ही खर्च हो पाए हैं। यानी सभी विधायकों की औसतन 40 फीसद निधि खर्च होनी शेष हैं। हालांकि, विधायक निधि खर्च करने के मामले में 2017-18 की अपेक्षा 2019-20 में सुधार देखने को मिला है। दिसंबर 2017 तक 195.25 करोड़ रुपये के सापेक्ष सिर्फ 12 फीसद (23.29) करोड़ रुपये खर्च किए जा सके थे। इसके बाद निधि जारी करने की राशि बढने के साथ खर्च की रफ्तार भी बढ़ी है।

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