देहरादून। मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह ने गुरुवार को सचिवालय में मानसून अवधि की पूर्व तैयारियों के सम्बन्ध में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी जनपदों के अधिकारियों के साथ बैठक की। मुख्य सचिव ने कहा कि कोविड-19 के दृष्टिगत तेज वर्षा और भूस्खलन जैसी आपदा दूरस्थ क्षेत्रों में चुनौतीपूर्ण कार्य होगा। उन्होंने निर्देश दिए कि आपदा की परिस्थितियों में रेस्पॉन्स टाइम को कम से कम करते हुए राहत कार्यों को मजबूत और प्रभावशाली बनाना होगा। उन्होंने कहा कि युवा एवं महिला मंगल दलों को प्रशिक्षण देकर राहत कार्य के लिए तैयार किया जाए। मुख्य सचिव ने लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि मानसून अवधि में प्रायः बंद होने वाले मार्गों, वैकल्पिक मार्गों, भूस्खलन के लिए संवेदनशील क्षेत्र आदि का चिन्हीकरण एवं अधिकारियों, मशीनों एवं जेसीबी आदि की तैनाती सुनिश्चित की जाए, दूरस्थ क्षेत्रों में खाद्यान्न, पेट्रोल, डीजल आदि की उपलब्धता भी समय रहते सुनिश्चित कर ली जाएं। उन्होंने कहा कि वर्षा के दौरान संक्रमण से फैलने वाली बीमारियों की संभावना का आंकलन करते हुए गांव व शहरों की सफाई सहित जल भराव रोकने के लिए अभी से तैयारियां कर ली जाएं। मुख्य सचिव ने कहा कि प्रदेश के दूरस्थ क्षेत्रों में कनेक्टिविटी, डीएसपीटी फोन की उपलब्धता भी सुनिश्चित की जाए। उन्होंने जिलाधिकारियों को उपकरणों आदि की जांच एवं जनपद कि वेबसाइट्स को लगातार अपडेट करने के भी निर्देश दिए। उन्होंने आपदा सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों एवं आईआरएस टीमों का गठन एवं आईआरएस सिस्टम में नामित अधिकारियों के दूरभाष नंबर की अपडेटेड सूची शीघ्र उपलब्ध कराई जाए। इस अवसर पर पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार, सचिव आर. के. सुधांशु, शैलेश बगोली, एस.ए. मुरुगेशन, सुशील कुमार एवं अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी उत्तराखंड राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण रिद्धिम अग्रवाल भी उपस्थित थीं।