किसान आंदोलन को लेकर मंगलवार को एक बड़ी खबर आई है. दो दिनों तक लगातार सुनवाई के बाद दूूसरे दिन सुप्रीम कोर्ट ने किसान आंदोलन पर फैसला देते हुए केंद्र सरकार के तीनों कृषि कानूनों पर अस्थाई तौर पर रोक लगा दी है. इसके साथ ही कोर्ट ने एक कमेटी का भी गठन किया है। कमेटी में भूपिंदर मान सिंह मान, प्रेसिडेंट, भारतीय किसान यूनियन, डॉ. प्रमोद कुमार जोशी, इंटरनेशनल पॉलिसी हेड, अशोक गुलाटी, एग्रीकल्चर इकोनॉमिस्ट और अनिल धनवत, शेतकरी संगठन, महाराष्ट्र को शामिल किया गया है। सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद यह देखने वाली बात होगी कि क्या किसान संगठन केंद्र सरकार की बनाई इस कमेटी के सामने पेश होंगे? न्यायालय के इस फैसले की बाबत उत्तराखंड भाजपा संगठन से जब बात की गई तो उनका मानना था कि न्यायालय के निर्णय का हम सम्मान करते हैं और फैसले को विस्तृत पढ़ने के बाद ही सरकार आगे कुछ निर्णय लेगी
-विनोद सुयाल प्रदेश प्रवक्ता भाजपा