क्या उत्तराखंड राज्य आत्मनिर्भर
(self sustainable ) बन सकता है?
CA राजेश्वर पैन्युली
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जी हाँ ये हमारा प्रदेश पूरी तरह से आत्मनिर्भर हो सकता है और हमारे लोग जो काबिल हैं ,वो भी वापस अपने गाँव / कस्बे मे आ सकते हैं lपर उसके लिए सबसे पहले जरूरी है,
“राजनैतिक इच्छाशक्ति” की ..
उन लोगों को आगे आना होगा जिन्हे अनुभव है, अपने गाँव का भी और बहारी दुनिया का भी, साथ ही उन लोगों का अपने प्रदेश से भावनात्मक सम्बन्ध भी है l इन लोगों को ये चिन्ता नहीं करनी चाहिए कि जो कुछ स्वार्थी तत्व या कहें कि
कुछ घिसे पिटे छुट्ट भइया टाइप के नेता क्या कह रहे हैं, क्युंकि ये छुट्टभइया नेता कभी नहीं चाहते कि अच्छे लोग आगे आ सकें जिनकी सोच ,ज्ञान , क्षमता का दायरा बडा हो, जो कुछ कर सकते है l क्योंकि इन्हे लगता है कि इनकी नेतागिरी ख़तरे मे आ जायेगी l हमारे प्रदेश मे प्रचूर सम्भावनायें हैं विकास की, वो चाहे वनस्पती हो ,जड़ी बूटी हो, पर्यटन हो,जल उर्जा का विकास हो आदि आदिl मै ये बाते विस्तार से नहीं कर रहा क्योंकि येे सभी बातें हमारे सभी लोग जानते हैं l
हमे वास्तव मे जो जरूरत है वो है ,अच्छे लोगों की और उन्हें राजनीति मे अपनी पहचान बनाने की l विरोध सब का होता है, तो अच्छे लोगों का भी होगा ,इसके लिये सबसे पहले जरूरी है की आप लोग 2019 लोकसभा के चुनाव से पहले अपने अपने गाँव की वोटर लिस्ट मे नाम लिखाइये .. आने वाले लोक सभा चुनाव मे अपनी ताकत दिखाइये फ़िर उसके बाद स्थानिय
निकाय ( Local Bodies) के चुनाव मे प्रधान से ले कर जिला पंचायत मे आगे आएं.. l
हमे उन लोगों की जरूरत है जो जनप्रतिनिधि इस लिए नहीं बनते कि उसके बाद देहरादून मे मकान बनाना है , पर वो लोग आगे आएं जिनके मकान देहरादून /दिल्ली /अमेरिका आदि तक मे हैं पर वो अपने अनुभव और गांव से प्यार व लगाव के कारण आगे आ रहे है l उम्र कोई भी हो मगर उद्देश्य अच्छा होना चाहिए और उस उद्देश्य को पूरा करने की लगन और क्षमता होनी चाहिए l
पोस्ट बड़ी ना हो इसलिये आज यहीं तक
आगे भी विस्तार मे लिखुगां कि कैसे हमे अपने फ़ौजी भाईयों को गाँव से जोड़ना होगा ये वही फ़ौजी हैं जिन्होने़ मसूरी को वापस हरा भरा किया और केदारनाथ जी तक को नया स्वरूप देने तक मे अपनी छाप छोडी है l
दिल बडा कीजिये अपने भाइयों को साथ जोडिये तभी आने वाली पीडी का उद्धार होगा l
मेरी बात ठीक लग रही हो तो अपने सभी मित्रों रिश्तेदारों से शेयर करें.. पलायन अपने मे कोई बुरी बात नहीं है , देश विदेश जरूर जाएं चाहे पैसा कमाने ,नाम कमाने, उच्च शिक्षा के लिए , नयी नयी जानकारी के लिये , पर अपने घर गाँव को ना भूलें l
धन्यवाद….
आप लोग अपने सुझाव मेरे फ़ेसबुक पेज पर लिख सकते हैं l
CA राजेश्वर पैन्यूली