पुण्यतिथि पर याद किए गए देश के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू

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देहरादून। प्रदेश कंाग्रेस कमेटी कार्यालय में स्वतंत्र भारत के प्रथम प्रधानमंत्री, भारत रत्न पं. जवाहरलाल नेहरू की पुण्यतिथि के अवसर पर कंाग्रेसजनों ने प्रदेश कांग्रेस कार्यालय, देहरादून में उनके चित्र पर माल्यार्पण एवं पुष्पांजलि अर्पित कर उन्हें श्रद्धा पूर्वक याद करते हुए ’’भारत निर्माण में पण्डित जवाहर लाल नेहरू के योगदान’’ को याद किया। इस अवसर पर कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता एवं पूर्व सांसद अमी याजनिक ने पं0 नेहरू के जीवन वृत्त पर प्रकाश डालते हुए कहा कि पण्डित जवाहर लाल नेहरू द्वारा स्वतंत्रता संग्राम के दौरान किये त्याग और योगदान पर हमें गर्व है। उन्होंने प्रगतिशील, धर्मनिरपेक्ष और आधुनिकि भारत की जो आधारशिला रखने में योगदान दिया उसके लिए हम सब भारतवासी उन्हें कृतज्ञता से याद करते हुए नमन करते हैं। उन्होंने कहा कि पं0 जवाहरलाल नेहरू जी के पंचशील के सिद्धांत आज भी पूरी दुनिया को शांति का संदेश देते हैं। उन्होंने संसदीय लोकतंत्र के इतिहास में समाजवाद, लोकतंत्र व नियोजन का नया प्रयोग किया था जिससे पूरे विश्व में लोकतंत्र की बयार कोे नई दिशा मिली थी। उन्होंने सार्वजनिक क्षेत्र के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन करते हुए भारत के औद्योगिक विकास की मजबूत नींव खड़ी की थी। आजाद भारत की मजबूत अर्थ व्यवस्था की बुनियाद उनके कुशल नेतृत्व व दूरदृष्टि व विकास की सोच के कारण ही पड़ पाई थी। पं0 नेहरू ने पूरे विश्व में भारत के विकास का एक नया मॉडल प्रस्तुत किया था। आज भी उन्हें पूरे विश्व में मिश्रित अर्थ व्यवस्था का जनक माना जाता है। उन्होंने कहा कि पं0 जवाहर लाल नेहरू एवं उनके द्वारा किये गये कार्यों तथा उनकी स्मृतियों को मिटाने के लिए कुछ शक्तियां जो इस समय सत्ता मद में चूर हैं, अनेकानेक कुत्सित प्रयास कर रही हैं हमें उनके इस कुप्रयास का जवाब देना है। उन्होंने कहा कि जो लोग आज भारत की राजनीति से कांग्रेस को मुक्त करने की बात कर रहे हैं उन्हें हिन्दुस्तान की जनता समय-समय पर जवाब दे रही है एक समय वे भारत की राजनीति से स्वयं मुक्त हो जायेंगे।
इस असवर पर प्रदेश कांग्रेस के उपाध्यक्ष संगठन प्रशासन ने कहा कि आधुनिक भारत के निर्माता प0 नेहरू जी बहुलतावादी समाज, लोकतंत्र और सामाजिक न्याय तथा साझा समृद्धि के लिए राष्ट्र के संसाधनों पर समान अधिकार और अवसर के पक्षधर थे। उन्होंने भारत की एकता, सम्प्रभुता और अखण्डता को अक्षुण्ण बनाये रखने तथा विभाजनकारी विचारधारा की राजनैतिक शक्तियों का मुकाबला करने का मार्ग दिखाया तथा गुटनिरपेक्ष आन्दोलन का सूत्रपात किया और विश्व के राष्ट्रों में भारत के गौरव को बढ़ाकर विश्व नेतृत्व की भूमिका में खड़ा किया। उन्होंने कहा कि हमंे उनके दिखाये हुए मार्ग पर चलकर साम्प्रदायिकता, घृणा और हिंसा को बढ़ावा देने का काम करने वाली शक्तियों का डटकर मुकालबा करना है।
इस अवसर पर प्रदेश कांग्रेस कमेटी की मुख्य प्रवक्ता गरिमा माहरा दसौनी ने स्व. नेहरू जी का स्मरण करते हुए कहा कि आजादी की अर्द्ध रात्रि में पंडित जवाहर लाल नेहरू ने कहा था ये समय आराम करने या चैन से बैठने का नहीं है, बल्कि लगातार प्रयास करने का है। भारत की सेवा का मतलब लाखों पीड़ित लोगों की सेवा करना है. मतलब गरीबी, अज्ञानता, बीमारी और अवसर की असमानता को समाप्त करना होगा। हमारी पीढ़ी के सबसे महान व्यक्ति की महत्वाकांक्षा है कि हर आंख से एक-एक आंसू पोंछे जाएं, हो सकता है ये काम कठिन हो ये भी संभव है कि ये असंभव हो लेकिन हमें प्रतिज्ञा लेनी होगी कि जब तक पीड़ितों के आँसू खत्म नहीं हो जाते, तब तक हमारा काम खत्म नहीं होगा। उन्होंने कहा था कोई भी देश तब तक महान नहीं बन सकता जब तक उसके लोगों की सोच या काम संकीर्ण रहेगा। इस अवसर पर महानगर कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डॉ. जसविन्दर ंिसह गोगी ने पंडित जवाहर नेहरू जी को श्रद्वासुमन अर्पित करते हुए कहा कि पं0 जवाहर लाल नेहरू जी के नेतृत्व में देश को एक नई दिशा मिली। उन्होंने कहा कि देश को दुनियां के सामने एक ताकतवर शक्ति के रूप में खड़ा करने का श्रेय नेहरू जी को जाता है, उन्होंने देश में विकास की नींव रखी जिसका लाभ सदैव देशवासियों को मिलता रहेगा। उन्होंने कहा कि सत्ता में बैठी ताकतें देश के ’’सर्वधर्म संभाव’’ को कमजोर करने का प्रयास कर रही हैं। जिसका कांग्रेस पार्टी विरोध करती रहेगी। श्रद्वांजलि देने वालों में पूर्व सांसद और कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता अमी याजनिक, उपाध्यक्ष प्रशासनध्संगठन मथुरा दत्त जोशी, मुख्य प्रवक्ता गरिमा माहरा दसौनी, महामंत्री नवीन जोशी, महानगर अध्यक्ष डॉ. जसविन्दर ंिसह गोगी, सहलाहकार अमरजीत सिंह, महेन्द्र सिंह नेगी गुरूजी, शीशपाल ंिसह बिष्ट, नीरज त्यागी, अनुराधा तिवाडी, उर्मिला थापा, विरेन्द्र पंवार, बच्चन ंिसंह राणा आदि उपस्थित थे।

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